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भारत के पास दुनिया का दूसरा सबसे बड़ा सड़क नेटवर्क, बीते 9 साल में 59% बढ़ी राष्ट्रीय राजमार्गों की लंबाई

भारत के पास दुनिया का दूसरा सबसे बड़ा सड़क नेटवर्क, बीते 9 साल में 59% बढ़ी राष्ट्रीय राजमार्गों की लंबाई
  • PublishedJune 28, 2023

नई दिल्ली में मंगलवार को एक प्रेस कॉन्फ्रेंस को संबोधित करते हुए केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी ने कहा, 2013-14 में राष्ट्रीय राजमार्गों की कुल लंबाई लगभग 91 हजार किलोमीटर थी, जो 2022-23 में बढ़कर एक लाख 45 हजार किलोमीटर से अधिक हो गई है।

केंद्रीय सड़क परिवहन और राजमार्ग मंत्री नितिन गडकरी ने कहा कि पिछले नौ वर्षों में देश में राष्ट्रीय राजमार्गों की कुल लंबाई करीब 59 प्रतिशत बढ़ी है। इस विस्तार के साथ ही भारत के पास अब अमेरिका के बाद दूसरा सबसे बड़ा सड़क नेटवर्क है। केवल इतना ही नहीं उन्होंने यह भी कहा कि भारत ने सड़क नेटवर्क में अपनी महत्वाकांक्षा को प्रदर्शित करते हुए सात विश्व रिकॉर्ड भी हासिल किए।

नई दिल्ली में मंगलवार को एक प्रेस कॉन्फ्रेंस को संबोधित करते हुए केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी ने कहा, 2013-14 में राष्ट्रीय राजमार्गों की कुल लंबाई लगभग 91 हजार किलोमीटर थी, जो 2022-23 में बढ़कर एक लाख 45 हजार किलोमीटर से अधिक हो गई है।

चार-लेन राष्ट्रीय राजमार्गों में लगभग दोगुनी वृद्धि

आगे जोड़ते हुए उन्होंने यह भी कहा कि, पिछले नौ वर्षों में, चार-लेन राष्ट्रीय राजमार्गों में वृद्धि लगभग दोगुनी हो गई है। 2013-14 में फोर-लेन राष्ट्रीय-राजमार्ग की यह लंबाई 18,371 किलोमीटर थी जो, पिछले नौ वर्षों में बढ़कर 44,654 किलोमीटर हो गई है।

फास्टैग की शुरुआत के साथ टोल संग्रह में आया उछाल

केंद्रीय मंत्री ने कहा कि फास्टैग की शुरुआत के साथ, टोल संग्रह में महत्वपूर्ण उछाल आया है। उन्होंने बताया कि टोल से राजस्व 2013-14 में चार हजार 770 करोड़ से बढ़कर 2022-23 में 41 हजार 342 करोड़ रुपये हो गया।

सरकार का लक्ष्य

केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी ने कहा, सरकार का लक्ष्य 2030 तक टोल राजस्व को एक लाख 30 हजार करोड़ रुपये तक बढ़ाना है। उन्होंने कहा कि उत्तर पूर्व क्षेत्र में सड़क राजमार्ग नेटवर्क के विस्तार पर विशेष जोर दिया जा रहा है। साथ ही उन्होंने ये भी कहा कि क्षेत्र में दो लाख करोड़ रुपये से अधिक की परियोजनाएं चल रही हैं।

सड़क नेटवर्क में भारत ने 7 विश्व रिकॉर्ड किए हासिल

उन्होंने यह भी कहा कि राष्ट्रीय राजमार्गों पर सुखद अनुभव प्रदान करने के उद्देश्य से 670 सड़क किनारे सुविधाएं विकसित की जा रही हैं। केंद्रीय मंत्री ने कहा कि एनएचएआई ने तकनीकी प्रगति के प्रति अपनी प्रतिबद्धता और संयुक्त राज्य अमेरिका के बाद भारत को दुनिया के दूसरे सबसे बड़े सड़क नेटवर्क के रूप में स्थापित करने की अपनी महत्वाकांक्षा को प्रदर्शित करते हुए सात विश्व रिकॉर्ड हासिल किए।

राष्ट्रीय राजमार्गों के किनारे 15,00 से अधिक अमृत सरोवर किए विकसित

हरित पहल के मुद्दे पर उन्होंने कहा कि एनएचएआई ने पिछले नौ वर्षों में 68,000 से अधिक पेड़ों का प्रत्यारोपण किया जबकि 3.86 करोड़ पेड़ लगाए। उन्होंने कहा कि एनएचएआई ने देशभर में राष्ट्रीय राजमार्गों के किनारे 15,00 से अधिक अमृत सरोवर विकसित किए हैं।

सड़क निर्माण में 30 लाख टन कचरे का किया उपयोग

केंद्रीय मंत्री ने यह भी बताया कि मंत्रालय ने दिल्ली रिंग रोड परियोजना के लिए सड़क निर्माण में 30 लाख टन कचरे का उपयोग किया है। इसके अलावा उन्होंने बांस के क्रैश बैरियर्स लगाने की शुरुआत पर प्रकाश डालते हुए कहा कि इससे रोजगार के अवसर पैदा होंगे।