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6000 आंगनवाड़ी केन्द्रों में खुलेंगे क्रैच सेंटर, एक लाख आंगनवाड़ी को अपग्रेड करने का लक्ष्य

6000 आंगनवाड़ी केन्द्रों में खुलेंगे क्रैच सेंटर, एक लाख आंगनवाड़ी को अपग्रेड करने का लक्ष्य
  • PublishedJuly 26, 2024

कामकाजी महिलाओं के लिए केंद्र सरकार एक और तोहफा ला रही है। अक्सर काम पर जाने की वजह से ऐसी महिलाओं को बच्चों के देखभाल और रखने की चिंता रहती है। ऐसे में अब देशभर में लगभग 6000 आंगनवाड़ी केन्द्रों को अपग्रेड कर उसमें क्रैच सेंटर खोले जाएंगे। केन्द्रीय महिला एवं बाल विकास मंत्रालय इस योजना पर तेजी से काम करते हुए आने वाले सालों में करीब एक लाख से अधिक आंगनवाड़ी केन्द्रों को अपग्रेड करेगा।

क्रैच सेंटर के लिए की जाएंगी आवश्यक भर्ती

केन्द्रीय महिला एवं बाल विकास मंत्री अन्नपूर्णा देवी ने बताया कि ग्रामीण क्षेत्रों में कामकाजी महिलाओं की सहुलियत के लिए 6000 आंगनवाड़ी केन्द्रों में क्रैच सेंटर खोलने की योजना बनाई गई है। इसके लिए जल्दी आवश्यक भर्ती की जाएंगी। आंगनवाड़ी केन्द्रों में सभी बुनियादी सुविधाओं की व्यवस्था की जा रही है। इसके साथ आने वाले समय में एक लाख से अधिक आंगनवाड़ी केन्द्रों को अपग्रेड किया जाएगा।

वीमेन डेवलपमेंट से वीमेन लेड डेवलपमेंट की ओर
केंद्रीय मंत्री अन्नपूर्णा देवी ने कहा कि 2024-25 के लिए महिलाओं के कल्याण और सशक्तिकरण के उद्देश्य से योजनाओं के लिए जेंडर बजट आवंटन 3.3 लाख करोड़ रुपये है, जो वित्तीय वर्ष 2023-24 के जेंडर बजट विवरण की तुलना में 37.3 प्रतिशत अधिक हैए यह महिलाओं के कल्याण और सशक्तिकरण के प्रति सरकार के संकल्प को दर्शाता है। पीएम मोदी ने विकसित भारत के निर्माण का जो संकल्प लिया है, उसी दिशा में सरकार वीमेन डेवलपमेंट से वीमेन लेड डेवलपमेंट की ओर बढ़ रही है, जहां महिलाएं विकास और राष्ट्रीय प्रगति की कहानी में समान भागीदार हों और जहां वे नेतृत्व करें।

महिलाओं और बच्चों के लिए उठाए जा रहे जरूरी कदम
उन्होंने कहा कि महिलाओं की सुरक्षा के लिए वन-स्टॉप सेंटर आवश्यक सेवाएं प्रदान करते हैं, जिसमें चिकित्सा और कानूनी सहायता शामिल है और 24 घंटे टोल-फ्री हेल्पलाइन ‘181’ और ‘1098’ संकट से महिलाओं और बच्चों को तत्काल सहायता प्रदान की जाती है। मिशन सक्षम आंगनवाड़ी और पोषण 2.0 कार्यक्रम महिलाओं और बच्चों में कुपोषण से निपटने पर केंद्रित है और उनके स्वास्थ्य और सामाजिक कल्याण के बीच महत्वपूर्ण संबंध को रेखांकित करता है। मंत्रालय कामकाजी महिलाओं के छात्रावास और पालना घर के माध्यम से महिलाओं की कार्यबल भागीदारी को मजबूत करने के लिए भी प्रयासरत है|